Categories
मेरा गीत

मुझसे कोई प्यार कर ले

मुझसे कोई प्यार कर ले
दिल अपना देकर, दिल मेरा ले ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

तन्हाइयों का दर्द छुपा रखा है
इसे कोई कभी दो आँखों से चुरा ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

यह हसीं जज़्बात टिके हुए हैं लबों पे
इन्हें कोई अपने लबों से चख ले
दिल अपना देकर, दिल मेरा ले ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

दु:ख यह मेरा दु:ख कब चुकेगा
तूफ़ान यह दिल में कब रुकेगा
मुझपे कोई एतबार कर ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

चेहरा जो दिल को अपना लगेगा
समा जो बस इक सपना लगेगा
वह उस ख़ाब में मुझको बुला ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

वह हुस्न की जादूगरी हो न हो
वह महजबीं या परी हो न हो
बस मुझे अपनी तक़दीर बना ले
मुझपे कोई एतबार कर ले…


शायिर: विनय प्रजापति ‘नज़र’
लेखन वर्ष: २००४

By Vinay Prajapati

Vinay Prajapati 'Nazar' is a Hindi-Urdu poet who belongs to city of tahzeeb Lucknow. By profession he is a fashion technocrat and alumni of India's premier fashion institute 'NIFT'.

4 replies on “मुझसे कोई प्यार कर ले”

तन्हाइयों का दर्द छुपा रखा है
इसे कोई कभी दो आँखों से चुरा ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

यह हसीं जज़्बात टिके हुए हैं लबों पे
इन्हें कोई अपने लबों से चख ले
दिल अपना देकर, दिल मेरा ले ले
मुझसे कोई प्यार कर ले…

bahut hi sundar panktiyan,jazbaat bahut achhe se bayan karti hui.,bahut badhai

Jab din dhale, jyon hi raat ho
Kisi diljale ki baraat ho
Woh khalish kahan jo sabr de
dil tod de, maan mod de,
Yeh janoon kahe tumsein o sanam
Ke mujhe kaheen koi pyaar kare

@ मधु समीर, बहुत ख़ूब…! आपका धन्यवाद!

Leave a Reply to विनय प्रजापति Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *