हिक़ारत भरी नज़रों से जिसे देखा है दुनिया ने
उसको तुम एक नज़र मोहब्बत से देख लेना,
वह मुफ़लिस है मगर जीने को साँस लेता है!
हिक़ारत: घृणित, hateful | मुफ़लिस: ग़रीब, poor । मगर: शायद, perhaps
शायिर: विनय प्रजापति ‘नज़र’
लेखन वर्ष: २००४
हिक़ारत भरी नज़रों से जिसे देखा है दुनिया ने
उसको तुम एक नज़र मोहब्बत से देख लेना,
वह मुफ़लिस है मगर जीने को साँस लेता है!
हिक़ारत: घृणित, hateful | मुफ़लिस: ग़रीब, poor । मगर: शायद, perhaps
शायिर: विनय प्रजापति ‘नज़र’
लेखन वर्ष: २००४